जौनपुर(25जन.),। हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस गोविंद माथुर ने चाइनीज मांझा की बिक्री व उपभोग पर आदेश के बावजूद प्रतिबंध न लगने पर राज्य सरकार से जवाब तलब किया है।
जौनपुर दीवानी न्यायालय के अधिवक्ता हिमांशु श्रीवास्तव व सिपाह निवासी स्कूल संचालक अरुण कुमार यादव द्वारा दायर जनहित याचिका पर हाईकोर्ट ने उप्र सरकार से जवाब मांगा है।अधिवक्ता एसपी प्रसाद ने याचिकाकर्ताओं की ओर से समाचार पत्रों की कटिंग्स, फोटोग्राफ्स व अन्य सबूत दाखिल किए तथा बहस किया की हाई कोर्ट द्वारा रोक लगाने के बाद भी जिले में जीवन के लिए संकट उत्पन्न करने वाले चाइनीज मांझा की उपभोग व बिक्री होती रही जिला प्रशासन ने आदेश का पालन नहीं कराया और चाइनीज मांझा की चपेट में आकर लोग गंभीर रूप से घायल होते रहे। याचिका में हाल ही में जिले के दो अधिवक्ता रवि सिन्हा, भुवन अस्थाना तथा अन्य लोगों के चाइनीज मांझा से घायल होने का हवाला दिया गया। हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस ने कहा कि पतंग उड़ने पर तो रोक नहीं लगाई जा सकती लेकिन चाइनीज मांझा जो मानव जीवन व पक्षियों के जीवन को गंभीर संकट उत्पन्न कर रहा है,उसके उपभोग व बिक्री पर रोक लगनी चाहिए।राज्य सरकार की ओर से हाजिर स्टैंडिंग काउंसिल को 8 फरवरी को जवाब प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया।पूर्व में 19 नवंबर 2015 को हाईकोर्ट ने एक जनहित याचिका पर राज्य सरकार को आदेश दिया था कि प्रदेश के सभी जिले के कलेक्टर को निर्देश देकर चाइनीज मंझा के निर्माण,उपभोग व बिक्री पर रोक लगाया जाए। इसके बावजूद जिले में बिक्री व उपभोग धड़ल्ले से जारी रही।