जौनपुर। जनपद के मड़ियाहू तहसील में आयोजित होने वाला तहसील समाधान दिवस फरियादियों के लिए मजाक बन गया है। यहां के तहसील समाधान दिवस को कभी कानूनगो तो कभी तहसील का पेशकार चलाते है। मंगलवार को तो हद हो गई तहसील समाधान दिवस तहसीलदार ज्ञानेंद्र कुमार देख रहे थे तभी अचानक 12:00 बजे तहसीलदार यह कहते हुए चले गए कि समाधान दिवस बंद हो गया। जिसके बाद धीरे-धीरे तहसील समाधान सभागार खाली हो गया और मायूस फरियादी बिना फरियाद सुनाए ही वापस लौट गए।
बता दें कि इसके पूर्व मड़ियाहूं तहसील में लगने वाले समाधान दिवस तहसील के कानूनगो और पेशकार चलाते हुए देखे गए थे लेकिन 17 नवंबर को आयोजित तहसील समाधान दिवस की अध्यक्षता तहसीलदार ज्ञानेंद्र कुमार सिंह कर रहे थे। तहसील समाधान दिवस में दर्जनों फरियादी अपनी फरियाद लेकर तहसीलदार के सामने खड़े थे, 12:00 बजे अचानक तहसीलदार ज्ञानेन्द्र कुमार सिंह ने किसी को फोन किया और बिना समय गवाएं तहसील समाधान दिवस से उठे और चलते बने। जब उपस्थित अधिकारियों ने उनसे पूछा तो उन्होंने केवल इतना ही जवाब दिया कि अब तहसील समाधान दिवस नहीं होगा। जिसके बाद समूचा सभागार अधिकारियों कर्मचारियों, लेखपालों एवं कानूनगो से खाली होता चला गया। तहसील समाधान दिवस में अपनी फरियाद लेकर आए फरियादी दो टूक देखते रह गए। इस संबंध में ज्ञानेंद्र सिंह ने बताया कि आचार संहिता लगा हुआ है। जबकि इसके पूर्व मल्हनी में उपचुनाव हो रहा था इसके बावजूद मड़ियाहूं तहसील में पेशकार और कानूनगो तहसील समाधान दिवस चला रहे थे तब आचार संहिता का पालन नहीं हुआ। जिसकी चर्चा तहसील क्षेत्र में जमकर हो रही है और फरियादी कहते हुए फिर रहे हैं कि तहसील समाधान दिवस अधिकारी मजाक बना लिए है।