जौनपुर। मड़ियाहूं नगर पंचायत के सीसीटीवी कैमरे के कंट्रोल रूम पर उद्घाटन के दौरान लगाए गए शिलापट्ट मामले पर एक यूट्यूब चल रहे वीडियो पर सभासदों ने कटु निंदा किया है। सभासदों की माना जाए तो जो भी वीडियो चला है वह फेक वीडियो बनाकर चलाया जा रहा है। वही इस संबंध में बताया जाता है कि जहां सीसीटीवी कैमरे का कंट्रोल रूम बनाया गया है वहीं पर रैन बसेरा भी स्थापित किया गया है जो इस समय निर्माणाधीन है। सीसीटीवी कैमरे की दीवाल पर उद्घाटन के समय दो शिलापट्ट लगाए गए थे जिसमें एक अध्यक्ष रुखसाना कमाल ने अपनी व्यक्तिगत नाम से लगाया था और दूसरे शिलापट्ट पर माननीय सांसद बीपी सरोज, जिलाधिकारी दिनेश कुमार सिंह और तत्कालीन पुलिस अधीक्षक स वाली शिलापट्ट शीशे की तरह बना होने के कारण उसके नाजुकता को देखते हुए राजमिस्त्री ने निकालकर सीसीटीवी कैमरे के अंदर कंट्रोल रूम में रख दिया था। और अध्यक्ष रुखसाना का पत्थर से बना होने के कारण उसे छोड़ दिया गया था। जो बाद में निकाला गया। लेकिन उसी दौरान किसी खुराफाती दिमाग रखने वाले ने उसका वीडियो बनाकर नगर पंचायत अध्यक्ष को बदनाम करने की नियत से वायरल करने और यूट्यूब पर चलाने का काम कर रहे हैं। इस संबंध में सभासद अत्ताउल्लाह खान ने कहा कि हर जनप्रतिनिधि का इच्छा होती है की शिलापट्टों पर 5 वर्षों तक नाम लगा रहे। इसमें अगर अध्यक्ष ने अपने नाम का शीलापट्ट लगाया तो कोई खराब काम नहीं किया है। ऐसे लोग जो है यह वीडियो वायरल कर उनको बदनाम करने की कोशिश करते हैं मैं उनकी निंदा करता हूं। महतवाना वार्ड सभासद फहीम अहमद ने कहा कि मैं रहूं अथवा जनता के द्वारा चुने जाने वाला कोई भी जनप्रतिनिधि रहे शिलापट्ट लगाने का काम हर वह राजनीतिक व्यक्ति करता है। जिसमें नगर पंचायत अध्यक्ष रुखसाना ने अगर किया तो इसमें किसी को गुरेज नहीं होना चाहिए। दो शिलापट्ट लगाना कोई न हेराफेरी है न ही गैरकानून है। वहां एक शिलापट्ट और लगना चाहिए जिसमें सभी सभासदों का भी नाम हो। व्यक्तिगत यूट्यूब पर वीडियो लगाकर चलाना छोटी मानसिकता को दर्शाता है।